निर्बाध आपूर्ति के लिए मथुरा में पांच विद्युत उपकेंद्रों का ऊर्जा मंत्री ने किया लोकार्पण

लखनऊः  प्रदेश के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत मंत्री श्रीकान्त शर्मा ने विगत दिवस मथुरा जनपद में 15.07 करोड़ से निर्मित 33/11 के0वी0 के पांच उपकेन्द्रों का जनप्रतिनिधियों व ब्रजवासियों के साथ वर्चुअल लोकार्पण किया। इससे गाँठोली, लालपुर, कोसी देहात, सतोहा और राधाकुंड में बने इन उपकेंद्रों से अब 78 गांवों के 1.50 लाख लोगों को निर्बाध आपूर्ति मिलेगी।
ऊर्जा मंत्री ने इस अवसर पर कहा कि निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए मथुरा में 4 साल में उपकेंद्र निर्माण, क्षमता वृद्धि, अंडर ग्राउंड  केबलिंग, ट्रांसफार्मर बदलने व क्षमता वृद्धि, फीडर सेपरेशन, एबीसी केबल, नये खम्भे, लाइन बिछाने के 1165 करोड़ रुपये के कार्य हुए हैं। इनमें 33/11 के0वी0 के 08 नये सब स्टेशन निर्मित हुये हैं साथ ही 26 सब स्टेशन की क्षमता वृद्धि भी की गई है। प्रदेश की वर्तमान सरकार में मथुरा जिले में 7334 नये ट्रांसफार्मर लगाये गये और 439 की क्षमता वृद्धि की गयी।
ऊर्जा मंत्री ने कहा कि ऊर्जा विभाग जिले व प्रदेश की दीर्घकालीन ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने का काम कर रहा है। गत वर्ष मथुरा में ऊर्जा की अधिकतम मांग 650 एमवीए के सापेक्ष अब प्राथमिक उपकेंद्रों के निर्माण व क्षमता वृद्धि से 1270 एमवीए बिजली की उपलब्धता रहेगी। मथुरा जिले में वर्ष 2017 से अब तक 1 लाख 37 हजार से अधिक घरों का अंधेरा दूर किया गया है।
ऊर्जा मंत्री श्री शर्मा ने कहा कि आगामी गर्मियों में ब्रज चैरासी कोस के किसी भी कोने में विद्युत आपूर्ति में बाधा न रहे यह अधिकारी सुनिश्चित करें। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया है कि 24 घंटे निर्बाध आपूर्ति के लिये ‘सही बिल-समय पर बिल‘ सुनिश्चित करें, साथ ही जन प्रतिनिधियों व उपभोक्ताओं की मदद से लाइन लॉस को सिंगल डिजिट में लेकर आएं। श्री शर्मा ने कहा कि ऊर्जा विभाग ‘उपभोक्ता देवो भवः‘ की नीति पर चलने वाला विभाग है। अधिकारी हमेशा उपभोक्ता शिकायतों के तत्काल निस्तारण के प्रयास में रहे और 1912 पर आने वाली शिकायतों को गंभीरता से लें।
प्रदेश में बिजली के क्षेत्र में हुए कार्यों की जानकारी देते हुए ऊर्जा मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में और मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी के मार्गदर्शन में यूपी ने ऊर्जा क्षेत्र में बड़ी उपलब्धियां अर्जित की हैं। चार साल में हमने ट्रांसमिशन व वितरण नेटवर्क को दोगुना तक विस्तारित किया है, जिस कारण हम प्रदेश की 23867 मेगावाट बिजली की मांग पूरी कर सके हैं।
उन्होंने कहा कि फिलहाल प्रदेश की अधिकतम 27,240 मेगावाट की विद्युत मांग की आपूर्ति करने में प्रदेश सरकार सक्षम है। वर्ष 2022 तक प्रदेश की विद्युत मांग बढ़कर 34,500 मेगावाट तक हो जाएगी। प्रदेश में चार साल में ट्रांसमिशन क्षमता 8000 मेगावाट और आयात क्षमता में 8700 मेगावाट की वृद्धि हुई है। निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए 4 साल में प्रदेश में 650 नये सब स्टेशन बने व 4500 सब स्टेशन की क्षमता वृद्धि हुई है। आजादी के 70 साल बाद भी  अंधेरे में गुजर-बसर कर रहे प्रदेश के 1.30 लाख मजरों के 1.25 करोड़ लोगों के घरों में हमने रोशनी पहुंचाई है।

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