सुषमा सिंह ने ‘घरेलू हिंसा जागरूकता’ कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में प्रतिभाग किया
Date posted: 21 June 2020
लखनऊ: उत्तर प्रदेश राज्य महिला आयोग, उपाध्यक्ष सुषमा सिंह ने राष्ट्रीय वेबीनार, विषय -‘घरेलू हिंसा जागरूकता’ कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में प्रतिभाग किया। यह वेबीनार ऑनलाइन गवर्नमेंट डिग्री कॉलेज, गुसाईंखेड़ा, उन्नाव, उत्तर प्रदेश एवं गवर्नमेंट काकतीय पीजी कॉलेज, बस्तर, छत्तीसगढ़ के संयुक्त प्रयास से आयोजित किया गया। वेबीनार में मुख्य तौर से घरेलू हिंसा और उसके उपायों पर चर्चा हुई। वेबीनार में देश भर से काफी प्रोफेसर का जुड़ना हुआ। साथ ही साथ यूट्यूब लाइव पर भी लगभग 6000 दर्शकों के माध्यम से इस वेबीनार से जुड़ना हुआ।
सुषमा सिंह ने कानून में घरेलू हिंसा की परिभाषा समझाते हुए घरेलू हिंसा के रूप जैसे कि शारीरिक हिंसा, मौखिक और भावनात्मक हिंसा और आर्थिक हिंसा सभी विषयों के बारे में खुलकर जानकारी दी। घरेलू हिंसा संबंधी प्रारंभिक रिपोर्ट हेतु जिलों में सुरक्षा अधिकारी नियुक्त होने की भी जानकारी दी। घरेलू हिंसा के प्रमुख कारणो पर चर्चा की गयी।
उपाध्यक्ष सुषमा सिंह ने बताया कि महिलाओं और बच्चों पर घरेलू हिंसा के शारीरिक मानसिक एवं भावनात्मक दुष्प्रभाव पड़ता है। इसके कारण महिलाओं के काम तथा निर्णय लेने की क्षमता पर भी प्रभाव पड़ता है। घरेलू हिंसा के कारण दहेज मृत्यु, हत्या एवं आत्महत्या बढ़ती है। महिला की सार्वजनिक भागीदारी में भी बाधा आती है। महिलाओं की कार्य क्षमता भी घटती है। उपाध्यक्ष सुषमा सिंह ने लॉकडाउन में घरेलू हिंसा से निपटने के लिए आपसी विश्वास, धैर्य एवं संयमता बरतना अति आवश्यक बताया है।
सुषमा सिंह ने कहा कि आपसी तालमेल, आपसी विश्वास, परिवार पर भरोसा, परिवार के साथ बातचीत, सामूहिक भोजन करना, सामूहिक बैठना, चर्चा करना ही एकमात्र उपाय हैं। यह परिस्थिति स्थाई नहीं है ऐसे में आपसी भरोसा, संयम एवं विश्वास के माध्यम से परिस्थिति में जिस प्रकार के घरेलू हिंसा के शिकार हो रहे हैं उससे निजात पाया जा सकता है।
Facebook Comments