अनुच्छेद 370 की समाप्ति से बदली घाटी की तकदीर: सुरेश रूंगटा
Date posted: 4 August 2020
पटना: भाजपा के मुख्यालय प्रभारी सुरेश रूंगटा ने बताया की कश्मीर में धारा 370 के हट जाने के बाद जम्मू कश्मीर मे न केवल आतंक की घटनाओं में आषातीत कमी आयी है बल्कि पिछले एक वर्ष के दौरान राज्य के युवा मुख्य धारा में लौटने लगे है। केन्द्र सरकार द्वारा इन्फ्रास्ट्रक्चर में सुधार के साथ-साथ व्यापार-उद्योग को बढ़ावा देने की नीति से राज्य में रोजगार के नये अवसर पैदा हो रहे है।
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 व 35 ए को हटाने वाले ऐतिहासिक फैसले को आज 05 अगस्त को एक साल पूरा हो गया है। इस एक वर्ष में आतंकवादी हिंसा में कमी के साथ-साथ राज्य में सर्वांगिन विकास के रास्ते खुले है।
अगस्त 2019 से पूर्व तक जम्मू कश्मीर के आम वासिंदे कई संवैधानिक अधिकारों से वंचित थे। केन्द्र सरकार का कोई कानून वहां मान्य नहीं था। अनुच्छेद 370 के कारण पाकिस्तान से आये लोग खासकर वाल्मिकी समाज के बंधु शरणार्थी शिविरों में रहने को मजबूर थे। अपने ही मुल्क में दशको तक रहने के उपरांत भी इनके बच्चे सरकारी नौकरीयों में नहीं जा सकते थे, जमींन नहीं खरीद सकते थे तथा सरकार की किसी भी योजनाओं का लाभ ये नहीं ले सकते थे।
70 सालों का दंश झेलने के बाद ऐसे लोगों को धारा 370 के हटने से अपनी पहचान मिलनी संभव हुई है। जम्मु-कश्मीर को भी देष के अन्य राज्यों के समकक्ष खड़ा करने वाला यह ऐतिहासिक निर्णय मोदी सरकार की एक बड़ी उपलब्धि है जो राज्य के सर्वांगिन विकास को आवष्यक गति प्रदान करेगा।
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